पत्थरों को रगड़ा और आग लगा दी हमने, मजहब और सियासत को हवा दी हमने। पत्थरों को रगड़ा और आग लगा दी हमने, मजहब और सियासत को हवा दी हमने।
मिट्टी की खुशबू ऐसी, धरती से जुड़ गए हम, मिट्टी की खुशबू ऐसी, धरती से जुड़ गए हम,
मासूम की चीख़ों का हिसाब दे पहले। मासूम की चीख़ों का हिसाब दे पहले।
आज फिर से खिल उठी हूँ मैं कई अर्से बाद जैसे उठ गयी हूँ मैं। आज फिर से खिल उठी हूँ मैं कई अर्से बाद जैसे उठ गयी हूँ मैं।
खुशबू देकर मिटा देता वज़ूद अपना सीख देकर मिट्टी के मिलने में। खुशबू देकर मिटा देता वज़ूद अपना सीख देकर मिट्टी के मिलने में।
मिट्टी की सोंधी सुगंध से सद्भावों की अलख जगाएँ। मिट्टी की सोंधी सुगंध से सद्भावों की अलख जगाएँ।